हिसार : चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय, हिसार में चल रहा ऐतिहासिक छात्र आंदोलन आज 27 जून को 18वें दिन में प्रवेश कर चुका है। छात्र वीरवार को भी धरनास्थल पर डटे रहे। उधर विश्वविद्यालय ने अंतिम सेमेस्टर की परीक्षाएं खत्म होने के तीन दिन बाद ही परीक्षा परिणाम जारी कर दिया। इसमें 70 फीसदी छात्र फेल हुए हैं। छात्रों ने आरोप लगाया है कि विश्वविद्यालय प्रशासन उन पर दबाव बनाने के लिए हर तरह अपना रहे है। विश्वविद्यालय की परीक्षाएं 23 जून को संपन्न हुई थी और तीन दिन में परिणाम भी जारी कर दिया।
प्रशासनिक टालमटोल, अधूरी घोषणाएं और छात्र कल्याण की उपेक्षा के बावजूद छात्र अब भी सरकार पर विश्वास बनाए हुए हैं, लेकिन यदि सभी मांगे 1 जुलाई तक पूरी नहीं की गईं, तो 2 जुलाई से विश्वविद्यालय और सभी केवीके को पूर्ण रूप से बंद करने की घोषणा की गई है। छात्रों ने पहले 27 जून को विश्वविद्यालय के चारों गेट बंद करने का आह्वान किया था। लेकिन सरकार को एक और अवसर देने की भावना से उसे स्थगित किया गया है। छात्रों का यह संयम अब अंतिम चरण में है। यदि सरकार ने 1 जुलाई तक सभी मांगों पर स्पष्ट और आधिकारिक कार्यवाही नहीं की, तो 2 जुलाई से हर केवीके और विश्वविद्यालय पूरी तरह ठप कर दिए जाएंगे। जहां एक ओर छात्र शांतिपूर्ण ढंग से अपने अधिकारों के लिए धरने पर बैठे हैं, वहीं दूसरी ओर उन्हें मानवाधिकारों से वंचित किया जा रहा है।
छात्रों के हॉस्टल में एच ए यू प्रशाशन के द्वारा पानी भी बंद कर दिया गया है। जिसकी वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है। वहीं देर रात गर्ल्स हॉस्टल की वार्डन ने तो छात्रों को हॉस्टल खाली करने का फरमान जारी कर दिया है। मेस बंद कर दी गई है, जिससे भोजन सुविधा पूरी तरह से खत्म कर दी गई है। जिसके बाद छात्राओं ने 112 न पर फोन कर पुलिस को बुलाया गया। पुलिस के आने के बाद छात्राओं को खाना दिया गया। इस प्रकार देर रात तक छात्र ओर छात्राएं एच ए यू प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी करती नजर आई। छात्रों ने स्पष्ट कर दिया है कि 2 जुलाई से विश्वविद्यालय और सभी KVK पूर्णतः बंद कर दिए जाएंगे। यह आंदोलन अब जन-आंदोलन का रूप ले चुका है और सरकार को छात्रों की आवाज़ सुननी ही पड़ेगी।
बता दें कि 10 जून को स्कॉलरशिप में कटौती वापस लेने की मांग को लेकर छात्र विवि परिसर में आंदोलन कर रहे थे। इस दौरान कुछ विवि अधिकारियों और सुरक्षाकर्मियों ने छात्रों पर लाठीचार्ज कर दिया। इसमें कई छात्रों को चोटें आईं। इसके बाद दोनों पक्षों पर एफआईआर दर्ज हुई। इनमें से एक आरोपी अधिकारी की गिरफ्तारी भी हुई। तब से ही छात्र वीसी को हटाने समेत अन्य मांगों को लेकर धरना दे रहे हैं। बुधवार को शिक्षा मंत्री महिपाल ढांडा से हुई बातचीत में वीसी को 6 माह की छुट्टी पर भेजने पर सहमति बनी थी। अब छात्र लिखित आदेश मांग रहे हैं।