गांवों में मिलेगी अब शहरों वाली सुविधा, इस विभाग को मिलेगी जिम्मेदारी, जानिए पूरा प्लान

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हरियाणा सरकार ने अपने गांवों को शहरों के स्तर पर विकसित करने का बड़ा कदम उठाया है। पहले चरण में 21 महाग्रामों सहित आसपास के क्षेत्रों को चिन्हित कर उनमें नियोजित विकास की योजना बनाई जाएगी। इसके तहत नगर एवं ग्राम आयोजना विभाग को गांवों में भी आधारभूत सुविधाएं उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी दी जाएगी। सरकार का उद्देश्य ग्रामीण जीवन स्तर को बेहतर बनाना और उन्हें शहरी सुविधाओं के बराबर लाना है। विकास एवं पंचायत विभाग के साथ मिलकर नगर एवं ग्राम आयोजना विभाग पालिका क्षेत्रों में शामिल गांवों में नियोजित विकास की योजना तैयार कर रहा है।

ग्रामीण पंचायतों में आत्मनिर्भरता और समावेशी विकास को बढ़ावा

पंचायत स्तर पर आत्मनिर्भरता सुनिश्चित करने के लिए वित्तीय संसाधनों में वृद्धि के साथ नवाचारों को भी अपनाया जाएगा। एक हजार से अधिक आबादी वाली पंचायतों की कच्ची फिरनियों को पक्का करने का काम तेजी से जारी है। अब तक 224 ग्राम पंचायतों की कच्ची फिरनियों का पक्का निर्माण हो चुका है और मार्च तक सभी कच्ची फिरनियों को पक्का करने का लक्ष्य रखा गया है।

महिलाओं के लिए चौपाल और अधूरे भवनों का पुनः उपयोग

प्रत्येक गांव में पहली बार महिला चौपाल बनाने का निर्णय लिया गया है, जिसमें पहले चरण में 754 गांव शामिल होंगे। साथ ही, लंबे समय से अधूरे पड़े 600 से अधिक भवनों को पूरा कर उपयोग में लाने के निर्देश भी दिए गए हैं।

महात्मा गांधी ग्रामीण बस्ती योजना के तहत प्लाट और सुविधाएं

महात्मा गांधी ग्रामीण बस्ती योजना के तहत जिन लाभार्थियों को कब्जा नहीं मिला था, उन्हें मुख्यमंत्री ग्रामीण आवास योजना के माध्यम से 100 वर्ग गज तक के प्लाट प्रदान किए जाएंगे। इस योजना से विकसित सभी कालोनियों में बिजली, सड़क, पेयजल जैसी बुनियादी सुविधाएं सुनिश्चित की जाएंगी।

युवाओं के लिए ई-लाइब्रेरी और इंडोर जिम का विकास

ग्रामीण क्षेत्रों में युवाओं को बेहतर सुविधाएं देने के लिए अब तक 891 ई-लाइब्रेरी और 250 इंडोर जिम बनाए जा चुके हैं। इन्हें चरणबद्ध तरीके से और बढ़ाया जाएगा।

स्वच्छता और कचरा प्रबंधन में सुधार

स्वच्छ भारत मिशन-ग्रामीण के तहत गांवों को खुले में शौच मुक्त बनाने के साथ ठोस और तरल अपशिष्ट प्रबंधन के माध्यम से सभी गांवों को मॉडल ग्राम बनाने का लक्ष्य है।

स्वयं सहायता समूहों के सहयोग से घर-घर से कचरा उठाएगा प्रशासन

मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी के अनुसार, महाग्रामों और 10 हजार से अधिक जनसंख्या वाली ग्राम पंचायतों के लिए हापर टिपर डंपर खरीदे जा रहे हैं, ताकि कचरा प्रबंधन प्रभावी ढंग से हो सके। इसके अलावा, शहरों की तर्ज पर ग्रामीण क्षेत्रों में घर-घर से कचरा उठाने का काम स्वयं सहायता समूहों को सौंपा जाएगा। सफाई कार्य के लिए गांव की जनसंख्या के अनुसार मासिक मेहनताना भी दिया जाएगा।