चरखी दादरी मॉब लिंचिंग केस: दो नए वीडियो कोर्ट में पेश, साबिर मलिक हत्याकांड में गवाहों के बयान दर्ज

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चरखी दादरी: बाढड़ा कस्बे में 27 अगस्त 2024 को हुए मॉब लिंचिंग केस में शनिवार को जिला अदालत में सुनवाई हुई. सुनवाई के दौरान मुख्य गवाहों ने कोर्ट में दो नए वीडियो पेश किए. जिसमें कुछ युवक साबिर मलिक की पिटाई करते नजर आ रहे हैं. बता दें कि गौ मांस बनाए जाने के संदेह में लोगों ने पश्चिम बंगाल के युवक साबिर मलिक की पीट-पीट कर हत्या कर दी थी. इस मामले में अब तक दर्जनभर आरोपी गिरफ्तार होकर जेल जा चुके हैं.

चरखी दादरी मॉब लिंचिंग मामला: इस मामले में आज दो मुख्य गवाह भारी पुलिस सुरक्षा के बीच कोर्ट पहुंचे और उन्होंने कोर्ट के सामने दो वीडियो सौंपी. वीडियो में तीन लोगों को गो चिकित्सालय कार्यालय में बंधक बनाकर लाठी-डंडों से पीटते हुए दिखाया गया है. इसी हमले में साबिर मलिक की मौत हुई, जबकि दो अन्य गंभीर रूप से घायल हुए थे.

गौ मांस विवाद से शुरू हुआ था मामला: यह मामला तब भड़का, जब प्रतिबंधित पशु का मांस पकाए जाने की अफवाह फैली. 27 अगस्त को बाढड़ा कस्बे में रहने वाला पश्चिम बंगाल का युवक साबिर मलिक लापता हुआ और उसका शव हंसावास खुर्द के पास बरामद किया गया. घटना के बाद मामला राज्य स्तर पर गूंजा और दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने इस पर बयान दिए. जांच में पता चला कि इस मामले में 33 गवाह हैं, जिनकी कोर्ट में गवाही जारी है. मुख्य गवाह और शिकायतकर्ता ने कोर्ट में दो अहम वीडियो पेश कर अपनी बात रखी है, जिससे केस में नया मोड़ आ गया है.

कोर्ट में पेश हुए गवाह: पीड़ित पक्ष के वकील आरके बादल ने बताया कि “मुख्य गवाहों ने कोर्ट में दो वीडियो सौंपी हैं, जिनमें साफ दिख रहा है कि तीन लोगों को गो चिकित्सालय के एक कमरे में बंद कर बेरहमी से पीटा गया. इन्हीं में से साबिर मलिक की मौके पर मौत हो गई. इस घटना के बाद साबिर के साले ने बाढड़ा थाने में केस दर्ज कराया, जिसमें गंभीर धाराएं लगाई गईं. जांच में गौ मांस की पुष्टि नहीं हुई, इसके बावजूद आरोपी हिंसा में लिप्त पाए गए. पुलिस ने एक दर्जन से ज्यादा लोगों को हिरासत में लिया और उन्हें कोर्ट द्वारा जेल भेज दिया गया. उम्मीद है दोषियों पर सख्त एक्शन होगा.”

10 अक्टूबर को अगली सुनवाई: शुक्रवार को पश्चिम बंगाल और हरियाणा पुलिस की कड़ी सुरक्षा में दो मुख्य गवाह कोर्ट पहुंचे. उन्होंने कोर्ट के सामने दो वीडियो सबूत के रूप में सौंपे हैं, जो इस केस में निर्णायक माने जा रहे हैं. गवाहों के बयानों के आधार पर अगली सुनवाई की तारीख 10 अक्टूबर 2025 तय की गई है. वकील आरके बादल ने भरोसा जताया कि “पुलिस जांच और कोर्ट में पेश साक्ष्यों के आधार पर सभी आरोपियों को सजा मिलना तय है.” अब सबकी निगाहें अगली सुनवाई पर टिकी हैं, जहां इस सनसनीखेज मामले में न्याय की दिशा और स्पष्ट हो सकती है.