सोनीपत: हरियाणा के सोनीपत जिले स्थित गांव असदपुर के पास यमुना नदी में खनन कर रही एक कंपनी पर खनन के दौरान नियमों की अनदेखी करने का मामला सामने आया है। सिंचाई विभाग के अधिकारियों की कमेटी द्वारा यमुना घाट का निरीक्षण किया तो इसमें कंपनी की लापरवाही उजागर हो गई।
कमेटी के अनुसार कंपनी एनजीटी के नियमों विरुद्ध भारी मशीनरी से यमुना नदी के अंदर रेत खनन करती पाई गई। रेत के बड़े टीलों के कारण नदी की धारा का प्रवाह भी प्रभावित किया गया था। कई अवैध रास्ते बनाए गए थे। कमेटी की रिपोर्ट पर वाटर सर्विसेज के एसडीओ ने कंपनी को पत्र लिखकर खनन बंद करने के आदेश दिए हैं। वहीं, डीसी ने तीन अधिकारियों की कमेटी बनाकर जांच के आदेश दिए हैं।
रेत खनन के लिए मैसर्ज जेलकोवा बिल्डकान प्राइवेट लिमिटेड को लाइसेंस दिया हुआ है। सिंचाई विभाग के एसई आरके बोडवाल, एक्सईएन आशीष कौशिक, गुलशन कुमार और एसडीएओ हिमांशु की कमेटी ने 22 मई को गांव असदपुर में कंपनी की खनन साइट का जायजा लिया था। इस दौरान रेत खनन में नियमों की अनदेखी मिली। कमेटी ने जिला उपायुक्त, प्रदूषण नियंत्रण विभाग और खनन विभाग के अधिकारियों को रिपोर्ट भेज दी।
उधर, डीसी डॉ. मनोज कुमार ने सिंचाई विभाग की रिपोर्ट पर संज्ञान लेते हुए तीन अधिकारियों की कमेटी बनाकर जांच सौंप दी है। कमेटी में सोनीपत के एसडीएम, जिला खनन अधिकारी और प्रदूषण नियंत्रण विभाग के क्षेत्रीय अधिकारी शामिल हैं। कमेटी साइट पर जाकर जांच करेगी और रिपोर्ट सौंपेगी।
मैसर्ज जेलकोवा बिल्डकान प्राइवेट लिमिटेड के मैनेजर संदीप चहल ने कहा कि हमारी कंपनी को 10 साल के लिए यमुना में खनन का लाइसेंस मिला है। हम 9 साल से यहां खनन कर रहे हैं। खनन नियमों और एनजीटी के निर्देशों का पूरी तरह से पालन किया जा रहा है। खनन विभाग के अधिकारी भी साइट का जायजा लेते हैं। पिछले कुछ समय से सिंचाई विभाग के कई अधिकारी परेशान कर रहे हैं।